ABC News: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने तीन माह बाद राष्ट्रीय कार्यकारिणी की घोषणा कर दी है. उपाध्यक्ष पद पर किरणमय नंदा और प्रमुख महासचिव पद पर प्रोफेसर रामगोपाल यादव बरकरार है। यह दोनों पहले भी इसी पद पर थे.
वहीं, रामचरितमानस को लेकर विवादित बयान देने वाले एमएलसी स्वामी प्रसाद मौर्य को समाजवादी पार्टी की नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी में राष्ट्रीय महासचिव बनाया गया है. स्वामी प्रसाद मौर्य को नई राष्ट्रीय कार्यकारिणी में शिवपाल यादव और आज़म खान के बराबर का ओहदा दिया गया है. स्वामी प्रसाद मौर्य को राष्ट्रीय कार्यकारिणी में जगह मिलने के बाद चर्चाओं का बाजार भी गर्म हो गया है. कहा जा रहा है कि रामचरितमानस विवाद के बाद बैक डोर से ही सही अखिलेश यादव ने स्वामी प्रसाद मौर्य को अपनी मौन सहमति दे दी है. गौरतलब है कि रामचरितमानस विवाद के बीच शनिवार को ही स्वामी प्रसाद मौर्य ने अखिलेश यादव से मुलाक़ात की थी. जिसके बाद आज उनका पार्टी में कद बढ़ा दिया गया. यूपी के सियासी गलियारों में इसे बड़ा डेवलपमेंट के तौर पर देखा जा रहा है.
राष्ट्रीय कार्यकारिणी में 14 महासचिव बनाए गए हैं. इसमें मोहम्मद आजम खान, शिवपाल सिंह यादव, स्वामी प्रसाद मौर्य, लालजी वर्मा, राम अचल राजभर, अवधेश प्रसाद, इंद्रजीत वर्मा, मधु गुप्ता आदि शामिल हैं. 62 सदस्य राष्ट्रीय कार्यकारिणी में जातीय समीकरण का पूरा ध्यान रखा गया है. राष्ट्रीय कार्यकारिणी में अभिषेक मिश्रा, पवन पांडे को भी जगह मिली है. इसी तरह पूर्व मंत्री राम आसरे विश्वकर्मा, लीलावती कुशवाहा, धर्मेंद्र यादव, जावेद आब्दी, दयाराम पाल आदि को भी शामिल किया गया है.