ABC News: इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के बैनर तले ‘हृदय रोग और अत्याधुनिक उपचार’ विषय पर आयोजित सीएमई में बताया गया कि शरीर में अगर हल्का वायरल संक्रमण है तो क्षमता से अधिक व्यायाम न करें. इसके साथ ही मानसिक तनाव भी न लें. इससे हार्ट अटैक आ सकता है. मुख्य वक्ता सीनियर इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. अभिनीत गुप्ता ने कहा कि युवाओं में हृदयाघात की घटनाएं बराबर बढ़ रही हैं.
अगर दूसरे देशों के आंकड़ों को देखें तो लगता है कि देश में हार्ट अटैक महामारी बन रहा है. युवाओं में दिक्कत अधिक आ रही है. उन्होंने बताया कि कभी-कभी वायरल संक्रमण के लक्षण ठीक हो जाते हैं लेकिन शरीर के अंदर हल्की सूजन बनी रहती है. स्ट्रेस से धमनियों में अल्सर बन जाते हैं. इससे रक्त प्रवाह बाधित होता है. खून का थक्का जम जाता है और व्यक्ति को हार्ट अटैक पड़ जाता है. सीएमई का आयोजन आर्यनगर स्थित एक क्लब में किया गया. कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. अभिनीत गुप्ता ने इंडियन हार्ट एसोसिएशन के हवाले से बताया कि देश में हार्ट अटैक के 50 फीसदी रोगी 50 वर्ष से कम आयु के होते हैं. 25 फीसदी हार्ट अटैक के रोगी 40 वर्ष से कम उम्र के होते हैं. 30 से 40 वर्ष आयु वर्ग के हार्ट अटैक के रोगियों में 13 प्रतिशत वृद्धि हुई है. इसका प्रमुख कारण सिगरेट की लत और मानसिक तनाव है. अव्यवस्थित जीवन शैली, मधुमेह, शराब का सेवन, हाई ब्लड प्रेशर और बढ़ा हुआ कोलेस्ट्रॉल हार्ट अटैक का प्रमुख कारण है. सीएमई में डॉ. पंकज गुलाटी, डॉ. नंदिनी रस्तोगी, डॉ. शिवांशु मिश्रा, डॉ. अमित सिंह गौर, डॉ. आरपीएस भारद्वाज आदि रहे.
ऐसे करें बचाव
– पौष्टिक, संतुलित आहार लें.
– शारीरिक रूप से सक्रिय रहें.
– शरीर का वजन नियंत्रित रखें.
– ब्लड प्रेशर नियंत्रित रखें.
– तनाव दूर रखें, कार्य और जीवन में संतुलन बनाए रखें.
– नियमित जांचें कराएं और दवाएं, परामर्श लें.