ABC NEWS: महाराजगंज जेल से बुधवार को सपा विधायक इरफान सोलंकी को कड़े सुरक्षा घेरे में 38 दिन बाद पेशी पर कानपुर लाया गया. कोविड के दौरान चमनगंज थाने में दर्ज हुए सरकारी काम में बाधा व आचार संहिता उल्लंघन के मामले में इरफान पर एमपीएमएलए लोअर कोर्ट में आरोप तय कर दिए गए. अब मामले में गवाही होगी.
जाजमऊ आगजनी मामले में एमपीएमएलए सेशन कोर्ट के विशेष न्यायाधीश सत्येंद्र नाथ त्रिपाठी की अदालत में नौवें गवाह अकील अहमद को पेश किया गया. अकील ने कोर्ट में बताया कि घटना के दिन वह प्लॉट के पास से गुजर रहा था. उसने सुना कि रिजवान किसी को आग लगाने की योजना सफल होने की बात बता रहा था. इरफान व रिजवान की ओर से अधिवक्ता करीम अहमद सिद्दकी ने जिरह शुरू की. बची हुई जिरह के लिए कोर्ट ने 25 मई की तारीख नियत कर दी. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सुनवाई की जाएगी. मामले के अन्य आरोपी रिजवान सोलंकी, मोहम्मद शरीफ, शौकत अली और इसराइल आटे वाला भी कोर्ट में मौजूद रहे. इसके बाद इरफान को दूसरी मंजिल पर स्थित एमपीएमएलए लोअर कोर्ट लाया गया. जहां 2022 में चमनगंज थाने में इरफान के खिलाफ दर्ज सरकारी काम में बाधा डालने और आचार संहिता का उल्लंघन करने के मामले में आरोप तय कर दिए गए. अब उस मामले में गवाही होगी.
वकील ने आपत्ति जताई
इरफान के अधिवक्ता करीम अहमद ने बताया कि आगजनी मामले की वादिनी नजीर फातिमा की बेटी व बेटा की गवाही होनी थी. कोर्ट में अकील अहमद को गवाह के रूप में पेश कर दिया गया. तैयारी न होने के कारण जिरह करने में परेशानी हो रही थी.
बैरक में कूद रहे मेढक
इरफान के वकील ने कोर्ट में प्रार्थना-पत्र देकर कहा कि जेल मैनुअल के मुताबिक विधायक को सुविधा नहीं दी जा रही है. उन्हें प्रताड़ित किया जा रहा है. बैरक में मेढक कूद रहे हैं.
बेटे से मिले सपा विधायक, बोले-जीत हमारी होगी
सुबह 1030 बजे पेशी पर जाते समय इरफान कोर्ट के बाहर विक्ट्री पंच दिखाया और कहा, जीत हमारी होगी. वहीं महाराजगंज जेल रवाना होने से पहले विधायक ने शायरी पढ़ी कि रात चाहे जितनी काली हो, सवेरा उतना मजेदार होता है. इरफान भाई रिजवान व बेटे से भी मिले. कचहरी परिसर में इरफान की पत्नी मौजूद रहीं.