राजस्थान Bjp में वसुंधरा राजे की वापसी के संकेत, मोदी की रैली से बदले गए सियासी समीकरण

News

ABC NEWS: राजस्थान में बीजेपी पूर्व सीएम वसुंधरा राजे पर एक बार फिर दांव लगा सकती है. वसुंधरा राजे समर्थक लंबे समय से राजे को मुख्यमंत्री का चेहरा घोषित करने की मांग कर रहे हैं. पीएम मोदी की अजमेर में हुई रैली से ऐसे संकेत मिले है कि बीजेपी वसुंधरा राजे को सीएम फेस घोसित कर सकती है. पीएम मोदी के हावभाव से वसुंधरा राजे समर्थक काफी खुश दिखाई दे रहे हैं. अजमेर में बुधवार को हुई जनस में पीएम मोदी के आने से कुछ ही देर पहले वसुंधरा मंच पर पहुंचीं. हालांकि इस सभा को पूर्व मुख्यमंत्री ने संबोधित नहीं किया, मगर वसुंधरा राजे को पीएम मोदी के नजदीक जगह मिली है. मंच साझा करने की इस घटना ने जयपुर के सियासी गलियारों में हलचल बढ़ा दी. कयास लगने शुरू हो गए कि क्या भाजपा आने वाले विधानसभा चुनाव में वसुंधरा राजे के चेहरे पर एक बार फिर दांव लगा सकती है?

वसुंधरा के चेहरे से ही बीजेपी की वापसी
बता दें, राजस्थान की पूर्व सीएम वसुंधरा राजे जनाधार वाली नेता मानी जाती है. वसुंधरा समर्धकों का कहना है कि सिर्फ वसुंधरा के चेहरे पर ही पार्टी वापसी कर सकती है. ऐसे में बीजेपी आलाकमान को वसुंधरा राजे के सीएम फेस घोषित करना चाहिए. समर्थकों का दांवा है कि पूर्व मुख्यमंत्री का राजस्थान में प्रभावी जनाधार हैं. प्रदेश में वसुंधरा राजे के कार्यक्रमों में भारी भीड़ देखी जाती है. प्रदेश के प्रत्येक विधानसभा में राजे के कार्यकर्त्ता मौजूद हैं. प्रदेश में वसुंधरा राजे से जुड़े नेताओं का तो दावा है कि वसुंधरा राजे द्वारा पीएम मोदी की रैली को सफल बनाने के लिए संदेश भेजा गया था. पीएम मोदी की सफल जनसभा इसी का नतीजा है.

मोदी का हाथ जोड़ना और वसुंधरा राजे की मुस्कराहट 
राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि पीएम मोदी ने रैली में वसुंधरा राजे को पूरा सम्मान देकर सियासी संकेत दे दिया है. पीएम मोदी ने भैरोसिंह शेखावत को याद कर  साधने की कोशिश भी की. अजमेर की रैली में जब पीएम मोदी मंच पर पहुंचे तब वसुंधरा राजे सिंधिया उन्हें सामने दिख गईं. वसुंधरा राजे को देखते ही पीएम मोदी ने हाथ जोड़ेकर उनका अभिवादन स्वीकर किया. वहीं वसुंधरा ने भी मुस्कुराकर पीएम मोदी के राजस्थान आगमन का शुक्रिया कहा. वसुंधरा से पीएम मोदी की मुलाकात तस्वीर को देखकर ऐसा लगता है कि वह क्लियर मैसेज दे रहे हैं कि पूर्व मुख्यमंत्री को नजरअंदाज करने की भूल कोई ना करे.

वसुंधरा के धुर विरोधी भी मंच पर रहे मौजूद 
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि बीजेपी आलाकमान को चुनाव से पहले विभिन्न गुटों में बंटे भाजपा नेताओं को एक मंच पर लाना होगा. वसुंधरा राजे के धुर विरोधी माने जाने वाले पूर्व बीजीपी प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया, केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, अर्जुन राम मेघवाल और कैलाश चौधरी के बीच सुलह के का फार्मूला तैयार करना होगा. बीजेपी का एक धड़ा वसुंधरा राजे का विरोध कर रहा है. हालांकि, वसुंधरा समर्थकों का कहना है कि राजस्थान बीजेपी में वसुंधरा राजे से बड़़ा कोई नेता नहीं है.

खबरों से जुड़े लेटेस्ट अपडेट लगातार हासिल करने के लिए आप हमें  Facebook, Twitter, Instagram पर भी ज्वॉइन कर सकते हैं … Facebook-ABC News 24 x 7 , Twitter- Abcnews.media Instagramwww.abcnews.media

You can watch us on :  SITI-85,  DEN-157,  DIGIWAY-157


For more news you can login- www.abcnews.media