ABC NEWS: इस साल 15 मार्च को मीन संक्रांति से लगे खरमास की समाप्ति मेष संक्रांति के दिन होगा. 14 अप्रैल को सूर्य देव मेष राशि में प्रवेश करेंगे और उसके साथ ही खरमास का समापन हो जाएगा. सूर्य देव 14 अप्रैल को दोपहर 03 बजकर 12 मिनट पर मीन से मेष राशि में प्रवेश करेंगे और उस समय मेष संक्रांति का क्षण होगा. 14 अप्रैल से खरमास का समापन हो जाएगा, लेकिन तब भी मांगलिक कार्य नहीं हो पाएंगे, खासकर विवाह. तिरुपति के ज्योतिषाचार्य डॉ. कृष्ण कुमार भार्गव से जानते हैं कि खरमास के समापन के बाद भी 14 अप्रैल से मांगलिक कार्य क्यों नहीं होंगे? इसका क्या कारण है और विवाह का मुहूर्त कब से प्राप्त हो रहे हैं.
खरमास समाप्ति 2023
14 अप्रैल को दोपहर 03 बजकर 12 मिनट पर खरमास का समापन हो जाएगा क्योंकि उस समय सूर्य मीन से निकलकर मेष में गोचर कर जाएगा. सूर्य देव जब धनु या फिर मीन राशि में गोचर करते हैं तो खरमास लगता है. अंग्रेजी कैलेंडर के अनुसार नंवबर से दिसंबर और मार्च से अप्रैल के बीच खरमास लगता है.
खरमास समाप्ति पर भी नहीं होंगे मांगलिक कार्य?
दरअसल मांगलिक कार्यों के लिए देव गुरु बृहस्पति का उदित अवस्था में होना आवश्यक है. 14 अप्रैल को जब खरमास समाप्ति होगी, उस समय गुरु ग्रह मीन राशि में अस्त रहेगा. 28 मार्च को अस्त हुआ गुरु ग्रह 22 अप्रैल को राशि परिवर्तन करके मेष में गोचर करेगा. यह गोचर अस्त अवस्था में ही होगा. फिर 27 अप्रैल को 02:07 एएम पर मेष राशि में गुरु का उदय होगा. ऐसे में देखा जाए तो गुरु के अस्त रहने तक कोई मांगलिक कार्य नहीं हो पाएगा.
खरमास बाद कब से बजेगी शहनाई?
14 अप्रैल को खरमास समापन के बाद शादी की पहली शहनाई 6 मई को बजेगी. उस दिन खरमास के बाद के सीजन की पहली शादी होगी. मई 2023 में शादी के लिए 13 विवाह मुहूर्त हैं. उसके बाद जून में विवाह के लिए 11 दिन शुभ मुहूर्त हैं.
मई 2023 विवाह मुहूर्त
शादी की शुभ तारीखें: 6, 8, 9, 10, 11, 15, 16, 20, 21, 22, 27, 29 और 30.
जून 2023 विवाह मुहूर्त
शादी की शुभ तारीखें: 1, 3, 5, 6, 7, 11, 12, 23, 24, 26 और 27.