‘मन की बात’ में बोले PM मोदी, जी-20 हमारे लिए एक बड़ा मौका, मेजबानी मिलने से देशवासियों का सीना चौड़ा

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ABC News: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक बार फिर ‘मन की बात’ कार्यक्रम को संबोधित किया. मन की बात का यह 95वां एपिसोड है. अपने इस कार्यक्रम में पीएम मोदी ने भारत में होने वाले जी20 सम्मेलन का जिक्र किया. पीएम मोदी ने देश के युवाओं से जी20 सम्मेलन से जुड़ने की अपील की.

पीएम मोदी ने कहा कि तेलंगाना के राजन्ना सिर्सिल्ला जिले के एक बुनकर भाई येल्धी हरिप्रसाद गारू जी ने मुझे अपने हाथों से बुनकर G-20 का लोगो भेजा है. बुनाई के ये बेहतरीन प्रतिभा उन्हें अपने पिता से मिली है और आज वे अपने पूरे पैशन के साथ इसमें जुटे हुए हैं. लोगो भेजने के लिए मैं इसके लिए उन्हें धन्यवाद देता हूं. तेलंगाना के किसी जिले में बैठा व्यक्ति भी G-20 जैसी समिट से खुद को कितना जुड़ा महसूस करता है, ये देखकर अच्छा लगा है. पुणे के रहने वाले सुब्बा राव चिल्लारा और कोलकाता के तुषार जगमोहन ने G-20 को लेकर भारत के Pro-Active Efforts की बहुत सराहना की है. प्रधानमंत्री ने देश के युवाओं से भी G20 समिट का हिस्सा बनने की अपील की. पीएम ने कहा कि युवा अपने टीशर्ट पर G20 का लोगो बनाकर इससे जुड़ें. पीएम मोदी ने कहा कि G20 की अध्यक्षता हमारे लिए एक मौका है. हमें दुनिया की भलाई पर ध्यान देना है. शांति हो, एकता हो या सतत विकास हो, इन चीजों से जुड़ी चुनौतियों का समाधान भारत के पास है. हमने ‘एक धरती, एक परिवार, एक भविष्य’ की थीम रखी है, इससे वसुधैव कुटुम्बकम के लिए हमारी प्रतिबद्धता जाहिर होती है. G20 से जुड़े लोग आपके शहरों में आएंगे. मुझे भरोसा है कि आप अपने यहां की विशिष्टता को दुनिया के सामने लाएंगे. G20 से जुड़े लोग भविष्य में पर्यटक बन सकते हैं. आपको ये भी याद रखना है कि G-20 में आने वाले लोग, भले ही अभी एक Delegate के रूप में आयें, लेकिन भविष्य के tourist भी हैं.

मेरे प्यारे देशवासियों, 18 नवंबर को पूरे देश ने Space Sector में एक नया इतिहास बनते देखा. इस दिन भारत ने अपने पहले ऐसे Rocket को अंतरिक्ष में भेजा, जिसे भारत के Private Sector ने Design और तैयार किया था. इस Rocket का नाम है – ‘विक्रम–एस’. श्रीहरिकोटा से स्वदेशी Space Start-up के इस पहले रॉकेट ने जैसे ही ऐतिहासिक उड़ान भरी, हर भारतीय का सिर गर्व से ऊंचा हो गया. पीएम मोदी ने कहा कि ‘विक्रम-एस’ Rocket कई सारी खूबियों से लैस है. ‘विक्रम-एस’ के Launch Mission को जो ‘प्रारम्भ’ नाम दिया गया है, वो बिल्कुल Fit बैठता है. ये भारत में Private Space Sector के लिए एक नए युग के उदय का प्रतीक है. ये देश में आत्मविश्वास से भरे एक नए युग का आरंभ है.  पीएम मोदी ने कहा कि आप कल्पना कर सकते हैं जो बच्चे कभी हाथ से कागज का हवाई जहाज बनाकर उड़ाया करते थे, उन्हें अब भारत में ही हवाई जहाज बनाने का मौका मिल रहा है. आप कल्पना कर सकते हैं कि जो बच्चे कभी चांद-तारों को देखकर आसमान में आकृतियां बनाया करते थे, उन्हें अब भारत में ही रॉकेट बनाने का मौका मिल रहा है. Space को private sector के लिए खोले जाने के बाद, युवाओं के ये सपने भी साकार हो रहे हैं. प्रधानमंत्री ने कहा कि Rocket बना रहे ये युवा मानो कह रहे हैं Sky is not the limit. भारत space के sector में अपनी सफलता, अपने पड़ोसी देशों से भी साझा कर रहा है. इस satellite की launching, भारत-भूटान के मजबूत सबंधों का प्रतिबिंब है. इसे भारत और भूटान ने मिलकर develop किया है. ये satellite बहुत ही अच्छे resolution की तस्वीरें भेजेगी जिससे भूटान को अपने प्राकृतिक संसाधनों के प्रबंधन में मदद मिलेगी. पीएम मोदी ने कहा कि जब हम Technology से जुड़े Innovations की बात कर रहें हैं, तो Drones को कैसे भूल सकते हैं? भारत अब Drone के क्षेत्र में भी तेजी से आगे बढ़ रहा है. कुछ दिनों पहले हमने देखा कि कैसे हिमाचल प्रदेश के किन्नौर में Drones के जरिए सेब Transport किए गए. आज हमारे देशवासी अपने Innovations से उन चीजों को भी संभव बना रहे हैं, जिसकी पहले कल्पना तक नहीं की जा सकती थी. इसे देखकर किसे खुशी नहीं होगी?

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