शुभ मुहूर्त में राखी ना बांध पाए हों तो भी पूरे दिन उदयातिथि की प्रधानता से राखी बांधने का शुभ समय

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ABC NEWS: आज 31 अगस्त गुरुवार को देशभर में रक्षाबंधन का त्योहार मनाया जा रहा है. आज पूरे दिन पंचक है. कल 30 अगस्त को भी राखी बांधी गई थी, लेकिन भद्रा के कारण कल रात 09:01 बजे से मुहूर्त था. कल रात्रि में राखी मुहूर्त होने के कारण आज अधिकतर स्थानों पर रक्षाबंधन मनाया जा रहा है. आज सुबह 07:05 बजे तक सावन पूर्णिमा तिथि है और उस समय तक ही लोग
रक्षाबंधन का शुभ मुहूर्त मान रहे हैं, लेकिन ऐसा नहीं है. आज पूरे दिन राखी बांधी जा सकती है. दिल्ली के ज्योतिषाचार्य विजय दीक्षित के अनुसार, आज का सूर्योदय पूर्णिमा तिथि में होने से पूरे दिन सावन पूर्णिमा है. व्रत-त्योहार के लिए उदयातिथि की प्रधानता होती है. आइए जानते हैं कि आज पूरे दिन राखी बांधने के शुभ मुहूर्त कौन-कौन से हैं?

रक्षाबंधन पर श्रावण पूर्णिमा तिथि कब तक है?
वैदिक पंचांग के अनुसार, श्रावण पूर्णिमा तिथि 30 अगस्त को सुबह 10:58 बजे से प्रारंभ होकर आज 31 अगस्त को सुबह 07:05 बजे तक रहेगी. हालांकि उदयातिथि की मान्यता के अनुसार आज पूरे दिन श्रावण पूर्णिमा तिथि मान्य होगी क्योंकि सूर्योदय 05:58 ए एम पर हुआ है और यह तिथि सुबह 07:05 बजे तक है.

सुकर्मा और बुधादित्य योग में पड़ा है रक्षाबंधन का त्योहार
आज रक्षाबंधन पर 2 शुभ योग बने हैं. पहला सुकर्मा योग है, जो आज सुबह से लेकर शाम 05:16 पी एम तक है, वहीं सिंह रा​शि में सूर्य और बुध की युति से बुधादित्य योग भी बना है. सुकर्मा योग कार्यों को करने के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है. सुकर्मा योग में आप जो भी नया काम करेंगे, वह सफल होगा. वह कार्य बिना किसी विघ्न और बाधा के पूर्ण होता है. इस योग में नई नौकरी ज्वाइन करना अच्छा होता है.

रक्षाबंधन 2023: राखी बांधने के शुभ मुहूर्त
सुबह 05:42 बजे से सुबह 07:05 बजे तक.
सुबह 08:12 बजे से शाम 05:42 बजे तक.

नीचे दिन गए रक्षाबंधन के शुभ चौघड़िया मुहूर्त में भी राखी बांध सकते हैं. इसमें भी शुभ कार्य करने की मान्यता है.

रक्षाबंधन 2023: दिन का शुभ चौघड़िया मुहूर्त
शुभ-उत्तम मुहूर्त: प्रात: 05:58 बजे से सुबह 07:34 बजे तक

चर-सामान्य मुहूर्त: सुबह 10:46 बजे से दोपहर 12:21 बजे तक

लाभ-उन्नति मुहूर्त: दोपहर 12:21 बजे से दोपहर 01:57 बजे तक

अमृत-सर्वोत्तम मुहूर्त: दोपहर 01:57 बजे से दोपहर 03:33 बजे तक

शुभ-उत्तम मुहूर्त: शाम 05:09 बजे से शाम 06:44 बजे तक

राखी बांधते समय कौन सा मंत्र पढ़ते हैं?
येन बद्धो बलि राजा, दानवेन्द्रो महाबल:।
तेन त्वाम् प्रतिबद्धनामि, रक्षे माचल माचल:।।

राखी बांधते समय इस मंत्र को पढ़ना चाहिए. इस मंत्र का अर्थ है कि रक्षा सूत्र से जिस प्रकार महाबलि और महाशक्तिशाली असुर राजा बलि को धर्म के बंधन में बांधा गया था, उसी रक्षा सूत्र से मैं तुम्हें बांधता हूं, जो तुम्हारी सुरक्षा करेगा. हे रक्षासूत्र! तुम चलायमान न हो, चलायमान न हो.

रक्षाबंधन 2023: अशुभ समय कब हैं?
राहुकाल: दोपहर 01:57 पी एम से दोपहर 03:33 पी एम तक.
गुलिक काल: सुबह 09:10 ए एम से सुबह 10:46 ए एम तक.
पंचक: पूरे दिन. पंचक को अशुभ माना जाता है, लेकिन गुरुवार या बुधवार को शुरू हुआ पंचक अशुभ फलदायी नहीं होता है.

प्रस्तुति: भूपेंद्र तिवारी

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