ABC News: पिछले दिनों कानपुर में हुए बड़े सड़क हादसे के बाद प्रदेश सरकार ने ट्रैक्टर ट्रॉलियों को लेकर बड़ा फैसला लिया है. योगी सरकार ने ट्रॉलियों का पंजीकरण सिर्फ कृषि कार्यों के लिए करने का निर्णय लिया है. सरकार ने ट्रॉलियों के कॉमर्शियल इस्तेमाल पर पाबंदी लगाने का फैसला किया है. बीते दिनों राज्य में ट्रैक्टर ट्रॉलियों के हादसों को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है. सरकार ने स्पष्ट किया है कि ट्रॉलियों का इंश्योरेंस करवाना होगा और चार पहिया ट्रॉली की डिजाइन की अनुमति लेनी होगी.
ट्रैक्टर ट्रॉली हादसों को रोकने के लिए बनी समिति ने स्पष्ट किया है कि सिर्फ चार पहिया ट्रॉलियों का ही पंजीकरण होगा. दो पहिया ट्रॉलियों न बनेंगी न ही उनका पंजीकरण होगा. ट्रैक्टर ट्रॉली से होने वाले हादसों पर रोक लगाने के लिए शासन द्वारा गठित 5 सदस्यीय टीम ने इन प्रमुख बिंदुओं को अपनी रिपोर्ट में शामिल किया है. समिति इन बिंदुओं को शामिल करने के साथ ही पंजाब नियमावली का भी अवलोकन कर रही है. समिति द्वारा रिपोर्ट को अंतिम रूप देने के लिए बैठक भी हो चुकी है. अब जल्द ही यह रिपोर्ट सरकार को सौंप दी जाएगी. शासन द्वारा रिपोर्ट में मुहर लगते ही इसे राज्य में लागू कर दिया जाएगा. दरअसल, राज्य में लगातार हादसों को देखते हुए ट्रैक्टर ट्रॉलियों को लेकर सरकार द्वारा यह कदम उठाया जा रहा है. पिछले दिनों ट्रैक्टर ट्रॉली से अलग अलग दुर्घटनाओं में कई लोगों ने जान गंवाई थी. कानपुर ट्रैक्टर ट्रॉली हादसे को सुनकर लोग अभी भी कांप उठते हैं. 1 अक्टूबर को हुए हादसे में 26 लोगों ने जान गंवाई थी. उसके पहले लखनऊ और सीतापुर में भी ट्रैक्टर ट्रॉली हादसे का शिकार हुई थी. लखनऊ हादसे में 10 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई थी, वहीं सीतापुर हादसे में भी 1 व्यक्ति की मौत हुई थी. यही वजह है कि सरकार ने ट्रैक्टर ट्रॉली हादसों को रोकने के लिए समिति का गठन किया था. जो अब सरकार को अपनी रिपोर्ट सौंपेगी. उत्तर प्रदेश में ट्रॉलियां बनाने वाली 30 से ज्यादा कंपनियां हैं. जो एआरएआई, पुणे से डिजाइन का अप्रूवल लेती हैं. लेकिन समिति ने स्पष्ट किया है कि अब इन्हें आईआईटी से भी अप्रूवल लेना होगा. आपको बता दें कि राजधानी लखनऊ में 571 ट्रॉलियां ही पंजीकृत हैं. वहीं 15 हजार से ज्यादा ट्रॉलियां बिना रजिस्ट्रेशन के ही दौड़ रही हैं. अब समिति की सिफारिश को लागू किए जाने के बाद सभी को रजिस्ट्रेशन करवाना अनिवार्य होगा. अगर कोई रजिस्ट्रेशन नहीं करवाता तो उस पर कार्रवाई की जा सकती है.