ABC NEWS: लोकसभा की एथिक्स कमेटी के 6 सदस्यों ने “रिश्वत लेकर प्रश्न पूछने” संबंधी आरोपों के मामले में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) की सांसद महुआ मोइत्रा को संसद के निचले सदन से निष्कासित करने की सिफारिश की है. भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद विनोद कुमार सोनकर की अध्यक्षता वाली समिति ने गुरुवार को एक अहम बैठक की. इसमें समिति की 500 पन्नों वाली रिपोर्ट को स्वीकार किया गया. बैठक के बाद सोनकर ने संवाददाताओं से कहा कि समिति के छह सदस्यों ने रिपोर्ट को स्वीकार करने का समर्थन किया और चार ने इसका विरोध किया.
कमेटी में किसके कितने सदस्य?
रिपोर्ट के मुताबिक, 6 सांसदों ने महुआ मोइत्रा को लोकसभा से निष्कासित करने के पक्ष में वोट किया, जबकि 4 विपक्षी सांसदों ने एथिक्स कमेटी की रिपोर्ट के खिलाफ वोट किया है. बता दें कि इस 15 सदस्यीय एथिक्स कमेटी में भाजपा के सात, कांग्रेस के तीन और बसपा, शिवसेना, वाईएसआर कांग्रेस पार्टी, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) और जनता दल (यूनाइटेड) के एक-एक सदस्य शामिल हैं. महुआ को निकालने के समर्थन में वोट करने वालों में कांग्रेस सांसद परणीत कौर भी शामिल हैं. बता दें कि परणीत कौर कैप्टन अमरिंदर सिंह की पत्नी हैं. अमरिंदर सिंह के कांग्रेस छोड़ने के बाद पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोप में उन्हें पार्टी से निलंबित कर दिया गया था.
रिपोर्ट पर कोई चर्चा नहीं हुई- JDU सांसद
इस बीच पैनल के सदस्य और जदयू सांसद गिरिधारी यादव ने कहा कि सदस्यों के बीच रिपोर्ट पर कोई चर्चा नहीं हुई। उन्होंने आगे कहा, “यह नियमों का घोर उल्लंघन है। आपने केवल जिरह की है। उसके बाद, आपको पैनल के सदस्य के साथ चर्चा के लिए बैठक करनी चाहिए थी. उनके पास बहुमत है और इसलिए वे कुछ भी कर सकते हैं.” विपक्ष के पास मौजूद विकल्पों के बारे में पूछे जाने पर सांसद ने महुआ मोइत्रा को अपना समर्थन देते हुए कहा, ”द्रौपदी के चीर-हरण के कारण महाभारत (युद्ध) हुआ था.”
बता दें कि अब यह रिपोर्ट आगे की कार्रवाई के लिए लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को भेजी जाएगी. भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने मोइत्रा पर रिश्वत के बदले कारोबारी दर्शन हीरानंदानी के इशारे पर अडानी समूह को निशाना बनाने के लिए लोकसभा में सवाल पूछने का आरोप लगाया था. मोइत्रा ने आरोपों को खारिज किया था.